"पलाश के औषधीय गुण: रक्तशुद्धि, कृमिनाश और आयुर्वेदिक लाभ | Palash Benefits in Ayurveda"

Apr 01, 2025
आयुर्वेद ज्ञान
"पलाश के औषधीय गुण: रक्तशुद्धि, कृमिनाश और आयुर्वेदिक लाभ | Palash Benefits in Ayurveda"

वेदों  में  पलाश  को ब्रम्हवृक्ष  कहकर उसे  बहुत  महत्व दिया   गया है और  मन्त्रद्रष्टा ऋषियों  का  पलाश  के प्रति  बहुत आदर  था | 

पलाश एक औषधीय वृक्ष है | किंशुक,ब्रम्हवृक्ष,याज्ञिक,सुपर्ण,त्रिपर्ण,रक्तपुष्प,क्षारश्रेष्ठ,बीजस्नेह,कृमिघ्न,वक्रपुष्प,ढाक आदि इसके अनेक नाम हैं | इसके वृक्ष के पत्र बड़े प्रशस्त,मनोहर एवं सुन्दर होते  हैं अतः इसका नाम पलाश पड़ा | रक्त पलाश तथा श्वेत पलाश इसके कई भेद हैं | इसके छाल,क्षार,बीज,काण्ड,पत्र,पुष्प तथा निर्यास आदि  का उपयोग होता है | 


चरक संहिता के  अनुसार पलाश के अड़तीस प्रयोग बताये गए हैं जिनमे छाल के अठारह,क्षार के बारह,बीज के छ:,पुष्प और कांड के पत्र के दो | इसी प्रकार सुश्रुतसंहिता में पलाश  के 46 प्रयोग बताये गए हैं | 


उपर्युक्त योगों द्वारा प्रमेह,कुष्ठ,श्वित्र,शोथ,उदररोग,अर्श,ग्रहणी,हिक्का,कास,अतिसार तथा नेत्ररोगों आदि का उपचार किया जाता है | 


यहाँ पलाश के कुछ उपयोगी प्रयोग  दिए जा रहे हैं -


  1. छोटेबच्चों के पेट में कृमि हों तो ऐसे बच्चों को प्रथम एक तोला से तीन तोले तक  गुड़ खाने को दिया जाता है ,साथ ही ऊपर से आधा तोला से एक तोला तक पलाशमूल-अर्क पीने को देना चाहिए | ऐसा तीन दिन तक करे और रात को एक तोला से ढाई तोला शीत-गर्म पानी के साथ दिया जाए | 

पलाश के बीजों का क्वाथ पीने पर भी कृमियों का नाश होता है | 


  1. दन्त-शूल हो,दांतों से खून आये एवं कमजोर दांत हिलते हों तथा मसूढ़ों पर पलाश की अर्क की कुछ बूँद लगाने से लाभ होता है | 

  2. छोटे बच्चों को कुकुर खांसी में हल्दी के साथ अर्क देने पर लाभ होता है | 

  3. स्नायु-रोग,श्लीपद एवं कालरा जैसी व्याधि में भी इसका प्रयोग होता  है | 

  4. कर्णपीप में तीन-चार बूँद डालने से आराम मिलता है | 

  5. बालकों  को दन्त आने की वेदना से बचाने के लिए इसके मूल अर्क का प्रयोग हल्के से लगाकर किया जाता है,जिससे पतले दस्त का उपद्रव भी नहीं होता | 

  6. स्त्रियों के प्रदर रोगों में इसका अर्क दस से बीस बूंद सुबह और शाम चावल के पानी के साथ देने से लाभ होता है | 

  7. पलाश गर्भस्त्राव तथा गर्भपात में बहुत उपयोगी है | आयुर्वेद के प्राचीन ग्रंथों में पलाश पत्र का उपयोग बहुत जगहपर गर्भरक्षण के लिए वर्णित है | इसका अर्क भी बहुत लाभप्रद है | 

  8. पलाश का उपयोग श्रेष्ठ रसायन के रूप में अति लाभप्रद है | 






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